सिलीगुड़ी जैसे छोटे शहर का मस्तक बनने जा रहा एनजेपी स्टेशन ना केवल सिलीगुड़ी, बल्कि जलपाईगुड़ी, दार्जिलिंग, कालिमपोंग, सिक्किम और आसपास के इलाकों का एक ऐसा रेलवे स्टेशन बनने जा रहा है, जो दिल्ली, मुंबई के स्टेशन विकास मॉडल को पीछे छोड़ देगा. सिलीगुड़ी के लिए निश्चित रूप से यह गौरव का प्रतीक बनेगा. फिलहाल यह अंधेरे में है. लेकिन जब रोशनी की चमचमाती बूंदे स्टेशन की दीवारों से टकराएगी तो किसी छोटे शहर में महानगर की आभा बिखरेगा.
यानी आपको लगेगा कि आप किसी महानगर के रेलवे स्टेशन पर पहुंच गए हैं. साफ सफाई तो अभी से ही दिख रही है. रेलवे के प्रोजेक्ट में जो चीजें शामिल की गई हैं, अगर उनका सही सही निवेश होता है तो यह स्टेशन कुछ ऐसा मंजर उत्पन्न करेगा, जैसे आप हिंदुस्तान से बाहर किसी बड़े देश में आ गए हों. जब तक आप स्टेशन में रहेंगे, ऐसा लगेगा कि आप लंदन या पेरिस में आ गए हैं. हालांकि इस समय यात्रियों को सुखद अनुभूति नहीं हो रही है. यात्री परेशान है. क्योंकि उनकी सुविधाओं में कटौती की गई है.अच्छे दिन के लिए कष्ट उठाना ही पड़ता है. यात्री यही सोच कर संतोष करें.
अगर आप इन दिनों NJP जाते हैं, तो NjP स्टेशन पर फुट ओवर ब्रिज और एस्केलेटर की सुविधा बंद कर दी गयी है. इससे यात्रियों की परेशानी बढ़ गई है. वर्तमान में एनजेपी स्टेशन का आधुनिकीकरण किया जा रहा है. इसके तहत कई विकास कार्य किए जाने हैं, ताकि विकास कार्य में कोई बाधा न पहुंचे, इसके साथ ही यात्रियों को ज्यादा परेशानी का सामना न करना पड़े, फुट ओवर ब्रिज संख्या एक को अस्थाई तौर पर बंद कर दिया गया है. इसी तरह से एस्केलेटर सुविधा को भी आगामी 45 दिनों के लिए बंद कर दिया है.
यानी 45 दिनों तक यात्रियों को थोड़ी असुविधा का सामना करना पड़ सकता है. अगर आप एनजेपी स्टेशन जाएं तो स्टेशन पर चल रहे निर्माण कार्य और ढांचागत विकास को देखकर आप कह सकते हैं कि जब यह कार्य पूर्ण होगा, तब एनजेपी स्टेशन दिल्ली या मुंबई रेलवे स्टेशन की तरह ही आधुनिक दिखेगा. अनारक्षित काउंटर बाहर ही है. यात्रियों को स्टेशन के भीतर जाने के लिए भीतर से रास्ता बनाया गया है.
यहीं पर यात्री चकमा खा जाते हैं. लेकिन घबराने की कोई बात नहीं. बाहर में कई ऐसे लोग मिल जाएंगे, जो आपको गाइड कर सकते हैं. माटीगाड़ा के पवनसुख एक लंबे अरसे के बाद कोलकाता जा रहे थे. तब उन्हें पता नहीं था कि स्टेशन के भीतर जाने का रास्ता कौन सा है. बाहर एक रिक्शा वाले ने उन्हें बताया. सचमुच देखा जाए तो स्टेशन के आधुनिकीकरण का काम इस समय जोर पकड़ रहा है. अगस्त महीने में ढलाई से लेकर बुनियादी ढांचा बनकर तैयार होने की स॔भावना है. सामने के रास्ते और पीछे के भाग में निर्माण कार्य तेजी से चल रहा है. इस वजह से यात्री सुविधाओं में फिलहाल कटौती की गई है.
अगर आप एनजेपी स्टेशन जा रहे हैं तो 2 फुट ओवर ब्रिज चालू है. एक मध्यम और दूसरा पार्सल के पास से. यहां से होकर यात्री स्टेशन पर जा सकते हैं.अगर आप अपने साथ भारी सामान लेकर जाते हैं तो सामान को हाथ में या कंधे पर रखकर ही ले जाना होगा. क्योंकि एस्केलेटर सुविधा बंद है. क्या-क्या विकास कार्य हो रहे हैं, कब तक होंगे,उसकी अवधि भी निर्धारित की गई है. लेकिन काम समय पर पूरा होगा, ऐसा लगता नहीं. सभी कार्य व्यवस्था तरीके से हो रहा है. इसलिए इसमें देरी हो सकती है. कटिहार रेल मंडल अध्यक्ष पिछले दिनों एनजेपी आए और विकास का एक प्रारूप तैयार कर गए. उसके बाद ही कार्य में तेजी आई है.
रेलवे की ओर से कहा जा रहा है कि सभी कार्य नियत समय पर पूरा होंगे. तब तक यात्रियों को थोड़ी परेशानी का सामना करना ही होगा. हर अच्छे काम के लिए कुछ ना कुछ तो त्याग करना ही पड़ता है. यात्रीगण यही सोच कर चले कि कल उनके अच्छे दिन आएंगे. जो भी हो, वर्तमान में एनजेपी का लुक बदल रहा है.