प्रत्येक साल चैत्र नवरात्रि चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि से शुरू होती है और यह पूरे 9 दिन तक चलती है. नवरात्रि में मां दुर्गा के नौ रूपों की पूजा और उपासना की जाती है. 22 मार्च से शुरू होने वाली चैत नवरात्रि 30 मार्च को खत्म होगी!
शास्त्रों में चैत्र नवरात्रि का व्रत और उपासना पूरे मन, नियम और आत्मा से करने से व्यक्ति को सभी तरह के सुख प्राप्त होते हैं. कई लोगों को पता नहीं होता कि चैत्र नवरात्रि के दौरान उन्हें क्या- क्या सावधानियां बरतनी चाहिए तथा किन चीजों से अलग रहना चाहिए, ताकि माता की उन पर कृपा हो सके. तो आइए हम आपको बताते हैं कि आप माता की चौकी रखने के बाद कौन-कौन सी बातों का ख्याल रखें.
अगर आप चैत्र नवरात्रि में कलश की स्थापना कर रहे हैं तो माता की चौकी के पास हर समय कोई ना कोई घर का सदस्य जरूर रहना चाहिए तो माता की कृपा होती है. नवरात्रि में 9 दिनों का व्रत जो रखते हैं, उन्हें इस दौरान दाढ़ी अथवा बाल नहीं कटवाना चाहिए. और ना ही इस दौरान परिवार में किसी बच्चे का मुंडन करवाना चाहिए.
नवरात्रि के दौरान व्रती को प्याज और लहसुन का सेवन नहीं करना चाहिए और ना ही परिवार के किसी सदस्य को इसका उपयोग करना चाहिए. शास्त्रों में कहा गया है कि नवरात्रि के दौरान किसी भी तरह के काले रंग के कपड़े नहीं पहनने चाहिए और ना ही व्रत रखने वालों को सिलाई कढ़ाई जैसे काम करने चाहिए. पूरे 9 दिनों तक स्वच्छता का पूरा ध्यान रखना चाहिए.
जो लोग नवरात्रि का व्रत रखें, उन्हें चमड़े की किसी भी वस्तु का उपयोग नहीं करना चाहिए. जैसे चमड़े की बेल्ट, चप्पल ,जूते, बैग अथवा कोई भी चमड़े की वस्तु नवरात्रि के 9 दिनों तक उपयोग नहीं करनी चाहिए. विद्वानों के अनुसार नवरात्रि के 9 दिनों में नाखून काटने की भी इजाजत नहीं है. इसलिए जब आप नवरात्रि का व्रत रखने जा रहे हैं, उससे पहले ही नाखून काट लें!
जो लोग नवरात्रि का व्रत रख रहे हैं, उन्हें इस दौरान अनाज और नमक का सेवन बिल्कुल नहीं करना चाहिए. हां व्रती लोग खाने में कुट्टू का आटा, विशेष चावल, साबूदाना, सेंधा नमक सिंघाड़े का आटा आदि का इस्तेमाल कर सकते हैं. खबर समय की यह विशेष पेशकश खबर समय के दर्शकों के लिए है जो 22 मार्च से अपने घर में नवरात्रि का व्रत रखने जा रहे हैं!