एक पुरानी कहावत है. बड़े बुजुर्गों ने कहा है, लालच बुरी बला. लालची लोगों को हमेशा ही नुकसान झेलना पड़ता है. यह सही है कि आज के दौर में हर व्यक्ति दौलत के पीछे भाग रहा है. पैसे कमाने के लिए लोग सभी तरह के हथकंडे अपना रहे हैं. आज के पढ़े लिखे नौजवान दौलत कमाने के लिए शेयर मार्केट में निवेश कर रहे हैं. तड़क भड़क विज्ञापनों से प्रभावित होकर ऐसे लोग भी शेयर मार्केट में निवेश कर रहे हैं, जिन्हें शेयर मार्केट के बारे में कोई जानकारी नहीं होती. उनके दिमाग में तो सिर्फ यह बात बैठा दी जाती है कि शेयर मार्केट में निवेश करने से कुछ ही समय में धन तीन गुना, चार गुना हो जाएगा.
आमतौर पर फेसबुक और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर इस तरह के विज्ञापन साइबर अपराधियों के द्वारा दिए जाते हैं. ये लोग मोबाइल पर एक लिंक भी भेजते हैं. एक बार अगर आपने इनके भेजे लिंक को क्लिक कर लिया तो उनके जाल में फंसे बगैर नहीं रह सकते हैं. पुलिस, बैंक, वित्तीय संस्थाओं और आरबीआई की गाइडलाइन में स्पष्ट रूप से लोगों को बताया जाता है कि वे साइबर अपराधियों के जाल में आने से कैसे बचें . लेकिन ऐसा लगता है कि लोग इस पर ध्यान ही नहीं देते और जब उनकी पूंजी डूब जाती है तब साइबर थाने में जाकर गिड़गिड़ाने लगते हैं.
हमारे शहर सिलीगुड़ी में साइबर ठगी के हर दूसरे तीसरे दिन कोई ना कोई मामला सामने आता रहता है. कुछ ही दिनों पहले सिलीगुड़ी के एक व्यक्ति ने साइबर ठगों के हाथों 55 लाख रुपए गंवा दिए थे. अब एक बार फिर से सिलीगुड़ी के अलग-अलग स्थानों में रहने वाले दो व्यक्तियों ने कुल 80 लाख रुपए गवा दिए हैं. उनमें से एक व्यक्ति झंकार मोड़ का रहने वाला है. जबकि दूसरा व्यक्ति महानंदा पाड़ा का रहने वाला है. मजे की बात यह है कि इन व्यक्तियों ने उस जगह निवेश किया, जिसके बारे में उन्हें कोई जानकारी भी नहीं थी. बस ये विज्ञापन के झांसे में आ गये और रातों-रात करोड़पति बनने के सपने देखने लगे थे. किन्ही कारणों से हम इन दोनों व्यक्तियों के असली नाम नहीं दे रहे हैं.
झंकर मोड़ के रहने वाले सुजय दास को क्रिप्टो करेंसी के ऑनलाइन कारोबार में रातों-रात करोड़पति बनने का एक विज्ञापन और विज्ञापन के साथ एक लिंक भी मिला. सुजय दास ने लिंक को क्लिक किया तो दूसरी तरफ से कुछ लोगों ने शेयर मार्केट में निवेश करने के लिए उसका ब्रेनवास कर दिया. सुजय दास ने अनजान व्यक्तियों के द्वारा सुझाए गए ट्रेडिंग एप को डाउनलोड किया और अपना खाता खोल दिया. इसके बाद दूसरी तरफ के लोगों के दिशा निर्देश के अनुसार सुजय दास ने शेयर मार्केट में निवेश के लिए विभिन्न बैंक खातों में 11 लाख रुपए जमा कर दिए. इन रूपयों पर सुजय दास को खूब लाभांश भी मिला. लेकिन जैसा कि होता आया है,पैसे तो उनके खाते में जमा हुए लेकिन उन पैसों को वे खाते से निकाल नहीं सकते थे.
जब सुजय दास ने अपना पैसा खाते से निकालने की बात कही, तो दूसरी तरफ से उनसे 13 लाख रुपए की मांग की गई. कहा गया कि पहले टैक्स और प्रोसेसिंग फीस चुकता करना होगा जो लगभग 13 लाख रुपए होता है. अगर इन रूपयों को जमा कर देते हैं तो वह अपना पैसा खाते से निकाल सकते हैं. एक बार फिर सुजय दास उनके झांसे में आ गए और 13 लाख रुपए जमा कर दिये. लेकिन फिर भी खाते से अपना पैसा निकाल नहीं पाए. इसी तरह से जब भी सुजय दास खाते से पैसा निकालने की बात करते, दूसरी तरफ से उन्हें किसी न किसी तरह से भरमा दिया जाता था. धीरे-धीरे करके सुजय दास अपनी सारी जमा पूंजी कुल 33 लाख रुपए ठगों के हाथ गवा बैठे.
सिलीगुड़ी के महानंद पाड़ा में रहने वाले अनिल विश्वास ने कुछ इसी तरह से 47 लाख रुपए गंवाए हैं. अनिल विश्वास ने फेसबुक पर शेयर बाजार में इन्वेस्ट से चार गुना धन कमाने का विज्ञापन देखा तो उन्होंने विज्ञापन के लिंक पर क्लिक कर दिया. ऐसा करते ही दूसरी तरफ से दो लोगों ने उन्हें एक ऐप डाउनलोड करने को कहा. अनिल विश्वास तैयार हो गए. उन्होंने अपने मोबाइल में उक्त ऐप को डाउनलोड कर लिया. इसके बाद सुजय दास की तरह ही उन्होंने विभिन्न बैंक खातों में 47 लाख रुपए निवेश कर दिए. लेकिन जब अपना पैसा निकालने की बारी आई तो उनके साथ भी वही खेल खेला गया, जो सुजय दास के साथ खेला गया था. जब दोनों व्यक्तियों के द्वारा अपना पैसा वापस पाने के सारे प्रयास विफल हो गए तो सिलीगुड़ी साइबर थाने में जाने के सिवा उम्मीद की कोई किरण नजर नहीं आई.
सिलीगुड़ी साइबर सेल के पुलिस अधिकारी उनकी मूर्खता पर हैरान हैं. वे कहते हैं कि शेयर मार्केट में निवेश करने के लिए व्यक्ति के पास बचत खाते के अलावा डिमैट अकाउंट भी होना जरूरी है. जिन लोगों ने शेयर मार्केट में निवेश किया है, उन्हें इसके बारे में कोई जानकारी ही नहीं थी. पुलिस अधिकारियों ने बताया कि इन व्यक्तियों ने अपना पैसा जिन बैंक खातों में ट्रांसफर किया, वे सभी किराना दुकान अथवा छोटे-मोटे उद्योगों के नाम पर खोले गए बैंक खाते थे. लेकिन वे तब भी नहीं समझ पाए. सिलीगुड़ी साइबर सेल के पुलिस अधिकारियों ने एक बार फिर से सिलीगुड़ी के लोगों को जागरुक करते हुए कहा है कि मौजूदा समय में सतर्क होकर ही निवेश करना चाहिए. किसी भी लालच में नहीं आना चाहिए. जिस क्षेत्र के बारे में कोई जानकारी नहीं हो, वहां निवेश करना मूर्खतापूर्ण कदम है. अगर आप ऑनलाइन फ्रॉड से बचना चाहते हैं तो अनजान नंबर से भेजे गए लिंक पर कभी भी क्लिक न करें.
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