जलपाईगुड़ी, 21 जुलाई: सावन महीने के पावन अवसर पर उत्तरबंगाल की पवित्र भूमि एक बार फिर गूंज उठी “हर हर महादेव” के जयघोष से। जलपाईगुड़ी ज़िले के मायनागुड़ी स्थित प्राचीन जलपेश मंदिर में रविवार की रात श्रद्धा और भक्ति की अविरल धारा बह उठी, जब हजारों शिवभक्त पैदल यात्रा कर भगवान को जल अर्पित करने के लिए उमड़ पड़े।
तिस्ता नदी के तट पर स्थित मरिचबाड़ी में भक्तों का जमावड़ा लग गया। हर कोई तिस्ता की पवित्र जलधारा में डुबकी लगाकर तन-मन को शुद्ध कर, कांवड़ उठाकर चल पड़ा बाबा को जल चढ़ाने। कोई नंगे पाँव, कोई जयकारों के साथ, तो कोई मौन व्रत में – हर कदम में श्रद्धा, हर सांस में शिव का नाम।
8 साल के बालक से लेकर 80 साल के वृद्ध तक, सभी एक ही भाव में – “भोले बाबा के दर पर हाज़िरी लगाने” के संकल्प में बंधे। भक्तों की इस आस्था और समर्पण ने पूरे क्षेत्र को एक आध्यात्मिक ऊर्जा से भर दिया।
भीड़ को देखते हुए प्रशासन ने भी कमर कस ली थी। जिला पुलिस अधीक्षक स्वयं उपस्थित रहकर व्यवस्था पर नजर रख रहे थे। उन्होंने तिस्ता पुल क्षेत्र और जलपेश मंदिर दोनों का निरीक्षण किया। मंदिर तक की राह को सुरक्षित व व्यवस्थित बनाने के लिए पुलिस बल, मेडिकल टीम और स्वयंसेवक लगातार सेवा में लगे रहे।