सिलीगुड़ी के अधिकांश नौजवानों में शराब, लॉटरी, सट्टा, मोबाइल गेम जैसी लतों ने उनकी जिंदगी को तबाह कर दिया है. अपने शौक और नशा की पूर्ति के लिए ऐसे लड़के घर और कार्य स्थल में चोरियां करते हैं. शराब पीकर आपस में मारपीट, खून खराबा तक कर डालते हैं. इस तरह के कई कांड सिलीगुड़ी में पहले भी हो चुके हैं. एक बार फिर से एक ऐसा ही रोंगटे खड़े कर देने वाला कांड सुर्खियों में है, जो सोचने पर मजबूर कर देता है कि नौजवान पीढी का भविष्य किस दिशा में जा रहा है!
शराब और जुआ अक्सर मुसीबत को लाता है. सिलीगुड़ी के नजदीक हतियाडांगा में रहने वाले राहुल दास और प्रभात विश्वास आपस में बचपन के दोस्त थे. दोनों आमबारी पुलिस चौकी के अंतर्गत रहते थे. उनके घर एक ही इलाके में स्थित थे. हालांकि उनकी उम्र 15 साल से भी कम थी, लेकिन दोनों ही एक नंबर के नशेड़ी, शराबी, जुआड़ी और स्मोकर थे. पिछले कुछ दिनों से उन्हें ऑनलाइन गेम खेलने का चस्का लग गया था. इससे उनके घर वाले परेशान रहते थे.रविवार की घटना है.
उस दिन सुबह-सुबह ही प्रभात राहुल के घर पहुंच गया और पीने पिलाने की बात करने लगा. पता नहीं क्यों, राहुल आज प्रभात के साथ जाना नहीं चाहता था. या तो उसे इस वक्त पीने की इच्छा नहीं थी. या फिर आज उसका मूड ठीक नहीं था. लेकिन जब प्रभात ने जिद कर दी तो अपने दोस्त की खातिर वह तैयार होकर घर से निकल गया. हालांकि राहुल की मां राहुल को घर से नहीं जाने देना चाहती थी. लेकिन अपने दोस्त की खातिर राहुल ने मां की आज्ञा को टाल दिया और अपने दोस्त के साथ साथ घर से निकल गया.
प्रभात राहुल को लेकर नदी किनारे पहुंचा. दोनों दोस्त इसी स्थान पर बैठकर साथ दारू पीते थे और जुआ सट्टा भी खेलते थे. इन दिनों दोनों दोस्त मोबाइल पर ऑनलाइन गेम खेल रहे थे. गेम खेलने से पहले प्रभात ने बोतल निकाली और दो गिलासों में पैग तैयार करने लगा. इसके बाद दोनों दोस्तों ने पहले तो जमकर दारू पी. उसके बाद स्मोकिंग करने लगे. फिर शुरू हुआ ऑनलाइन गेम. लेकिन इसी बीच राहुल ऑनलाइन गेम में प्रभात से हारने के बाद उसके साथ विवाद करने लगा. उसका कहना था कि प्रभात ने जानबूझकर उसके साथ छल किया है. तभी वह हारा है. इसी बात को लेकर दोनों में विवाद बढ़ गया. अब तक नशा उन दोनों पर ही हावी हो चुका था. फिर बात हाथापाई पर आ गई. बात इतनी बढ़ गई कि प्रभात ने गुस्से और नशे में राहुल पर पत्थर से वार कर दिया. राहुल के नीचे गिरते ही प्रभात ने दौड़कर राहुल को पकड़ कर उसका गला तब तक दबाता रहा, जब तक कि उसके प्राण पखेरू उड़ ना गए.
अचानक राहुल का शरीर तडप कर शांत होने लगा. एक ही झटके में प्रभात का नशा हिरण हो चुका था. राहुल के मरने का एहसास होते ही प्रभात वहां से नौ दो ग्यारह हो गया. उधर जब शाम तक राहुल लौटकर घर नहीं आया, तब उसकी मां ने राहुल को ढूंढना शुरू कर दिया.आसपास के रिश्तेदारों के घर पता किया. इसी दौरान राहुल को ढूंढने के क्रम में लोगों को नदी किनारे स्थित मंदिर परिसर से राहुल की डेडबाडी मिली. राहुल की लाश की शिनाख्त करने के बाद उसकी मां ने अपने बेटे की हत्या का आरोप प्रभात पर लगाया. जल्द ही यह खबर पूरे इलाके में फैल गई. तुरंत ही आमबाडी पुलिस चौकी घटनास्थल पर पहुंच गई.पुलिस ने राहुल के शव को पोस्टमार्टम के लिए अस्पताल भेज दिया. पूछताछ के क्रम में राहुल की मां ने राहुल की हत्या के लिए प्रभात विश्वास को जिम्मेदार ठहराया. सिलीगुड़ी आमबारी पुलिस चौकी और पुलिस की डिटेक्टिव डिपार्टमेंट ने रविवार की रात में ही प्रभात विश्वास को गिरफ्तार कर लिया.
फिलहाल प्रभात विश्वास जेल की सलाखों के पीछे पहुंच चुका है. क्योंकि वह नाबालिग है अतः पुलिस ने उसे जूविनाइल होम में भेज दिया है. राहुल हमेशा के लिए ऊपर चला गया है. आमबारी की यह घटना सिलीगुड़ी और संलग्न इलाकों में रहने वाले नौजवानों को एक सबक भी देती है. शराब, जुआ, सट्टा, लॉटरी और ऑनलाइन जैसे गेम हमेशा ही अनिष्ट को न्यौता देते हैं. पहले शौक के लिए नशे को अपनाया जाता है. बाद में नशा उनकी जिंदगी का एक हिस्सा बन जाता है. उसके बाद ही ऐसी मुसीबतें दस्तक देने लगती हैं. सिलीगुड़ी में अधिकांश परिवार अपने बच्चों की इन बुरी आदतों से काफी परेशान और चिंतित हैं.
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