December 27, 2024
Sevoke Road, Siliguri
उत्तर बंगाल जुर्म सिलीगुड़ी

सिलीगुड़ी का लड़का साइबर ठगी का हुआ शिकार!

साइबर ठगों का जाल लगातार फैल रहा है. देश के बड़े-बड़े महानगरों के बाद साइबर ठग अब छोटे शहरों के लोगों को भी लूटने लगे हैं. सिलीगुड़ी में साइबर ठगी की घटनाएं पहले से ज्यादा बढ़ गई है.विभिन्न तरीकों से लूटने वाले साइबर ठगो ने एक बार फिर से सिलीगुड़ी के शक्तिगढ़ के इलाके में रहने वाले एक लड़के को लूट लिया तथा उसके बैंक अकाउंट से ₹30000 पलक झपकते के साथ ही गायब कर दिए.

आजकल ऑनलाइन का जमाना है. किसी को कुछ भी खरीदना बेचना होता है,ऑनलाइन के जरिए सामान मंगवा लेता है. विभिन्न कंपनियों के मोबाइल में अनेक एप हैं. इनमें से अधिकतर ऐप पर साइबर ठग का शिकंजा कस चुका है. शक्तिगढ के अभिषेक नंदी ने एक ऐप पर डॉल्फिन खरीदने के लिए ऑर्डर बुक कराया. युवक ने 13 अक्टूबर को ऑनलाइन ऐप के जरिए 287 रुपए का डॉल्फिन खिलौना ऑर्डर किया था, जिसकी 27 अक्टूबर को डिलीवरी भी हो गई.

27 अक्टूबर को अपना पार्सल प्राप्त करने के बाद अभिषेक ने पार्सल खोला तो उसके अंदर एक तकिया मिला. इससे वह परेशान हो गया. उसने तुरंत ही कंपनी को फोन किया. बातचीत होने के बाद उसने प्राप्त पार्सल का फोटो लेकर पोस्ट कर दिया. इसके कुछ देर के बाद अभिषेक के ट्विटर अकाउंट पर उक्त ऑनलाइन शॉप ऐप का फर्जी अकाउंट बनाकर मैसेज के माध्यम से एक फोन नंबर दिया गया और उससे कहा गया कि उक्त नंबर पर फोन करके अपनी समस्या का समाधान करे.

अभिषेक ने ऐसा ही किया. लेकिन उसने सोचा तक नहीं था कि यह नया नंबर उसे साइबर ठगो का शिकार बना देगा. अभिषेक ने वही किया. जैसा कि इस मामले में दूसरे पीड़ित भूल कर बैठते हैं. लेकिन तब उनके दिमाग में यह सब बात नहीं आती. लेकिन जब उनका अकाउंट खाली कर लिया जाता है, तब उन्हें इसका होश आता है. अभिषेक के बैंक अकाउंट से ₹30000 कट गए. इसके बाद वह भागा भागा सिलीगुड़ी के साइबर क्राइम थाने पहुंचा और इसके बारे में लिखित रिपोर्ट दर्ज कराई.

अभिषेक नंदी की शिकायत के आधार पर साइबर थाने की पुलिस ने जांच शुरू कर दिया है. अभिषेक नंदी को उसका कटा हुआ पैसा वापस मिलेगा या नहीं मिलेगा, यह तो बाद की बात है. लेकिन उसने जो भूल की है, उस भूल को सिलीगुड़ी के लोगों से नहीं दोहराने की अपील कर रहा है. ऐसे फ्रॉड मामले में साइबर शिकार व्यक्ति का ब्रेन वाश कर देते हैं और फिर व्यक्ति वही करता है जैसा कि वह चाहते हैं. अगर आप ऑनलाइन ऐप से कुछ आर्डर करते हैं तो खूब संभल कर करें. अन्यथा अभिषेक नंदी की तरह ही धोखे के शिकार हो सकते हैं.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *