उनकी आंखों में धुंधली सी उम्मीद है. भारत-पाकिस्तान के बढ़ते तनाव और युद्ध की आशंका प्रबल होने के साथ ही यह उम्मीद अब खत्म होने लगी है. मेरे बेटे को वापस लाओ सरकार… मेरे स्वामी को पाकिस्तान की कैद से मुक्त कराओ सरकार…
हुगली के रहने वाले इस बीएसएफ जवान के परिवार की नींद उड़ चुकी है. परिवार का रो-रोकर बुरा हाल है. घर में वृद्ध पिता है. पत्नी और एक मासूम बच्चा. जिन पर क्या गुजर रही है, उसका बयान करना मुश्किल है. पाकिस्तानी रेंजर्स ने पंजाब के फिरोजपुर सेक्टर से बीएसएफ जवान पी के साव को बंधक बनाया था, जो गलती से सीमा पार कर पाकिस्तान में चला गया था.
बीएसएफ जवान के घर वालों को जब से यह खबर मिली है कि पाकिस्तानी रेंजर्स ने उन्हें बंधक बना लिया है, तभी से उनकी हालत खराब है. क्या होगा कुछ पता नहीं है.उम्मीद टूट सी रही है.अब तक पाकिस्तानी रेंजर्स ने उन्हें मुक्त नहीं किया है. हालांकि बीएसएफ और पाकिस्तान रेंजर्स के बीच मीटिंग चल रही है. घर वालों को घटना के बारे में जानकारी बीएसएफ जवान के एक मित्र ने रात में ही दी थी. उसके बाद से इस परिवार को ना भूख लग रही है ना प्यास. कभी केंद्र सरकार से मिन्नते कर रहे हैं तो कभी ईश्वर के सामने झोली फैला कर उनकी सलामती की दुआ मांग रहे हैं.
बीएसएफ जवान का नाम पीके साव है. वह बीएसएफ में हेड कांस्टेबल हैं. उनका घर हुगली जिले के रिसड़ा में पड़ता है. उनके पिता का नाम भोलानाथ साव है, पत्नी रजनी साव, जिसने घटना के बाद से ही अन्न का एक दाना तक मुंह में नहीं रखा है. पिता लगातार सरकार और भगवान से दुआ कर रहे हैं. अपने बेटे की अविलंब रिहाई के लिए केंद्र से लगातार गुहार लगा रहे हैं. इस परिवार को यह नहीं पता है कि उनके लाल को पाकिस्तान में कहां और किस प्रकार रखा गया है.ना ही बीएसएफ की ओर से कोई सूचना दी जा रही है.
रजनी साव की मार्मिक और भावुक कर देने वाली अपील सोशल मीडिया पर देखी जा सकती है. वह बताती है कि पहलगाम में आतंकी हमले की घटना के बाद रात में पति से उनकी आखिरी बातचीत हुई थी. बुधवार सुबह लगभग 6:00 बजे पाकिस्तानी रेंजर्स ने उनके पति को बंधक बना लिया. पी के साव 17 साल से देश की सेवा कर रहे हैं. उनका 7 साल का एक बच्चा है. वह पिछले महीने ही छुट्टियों में घर आए थे. 31 मार्च को वे वापस ड्यूटी पर लौट गए थे.
बीएसएफ जवान पी के साव के भाई राजेश्वर साव बताते हैं, उन्हें आश्वासन मिला है. केंद्र सरकार भाई की रिहाई के लिए सभी जरूरी कदम उठा रही है. उन्होंने बताया कि उनकी तबीयत ठीक नहीं थी इसलिए आराम करने के लिए वे सीमा के पास एक पेड़ के नीचे बैठ गए. अचानक उनकी आंख लग गई और वह सो गए. तभी पाकिस्तान रेंजर्स आए.उनके हथियार छीन लिए और उन्हें बंधक बनाकर ले गए. उन्होंने बताया कि बीएसएफ की ओर से उन्हें आश्वासन दिया गया है कि उन्हें जल्द छुडा लिया जाएगा. पी के साव बीएसएफ की 24वीं बटालियन के अंतर्गत आते थे.