सालों भर त्यौहारों से सजा है भारत देश, जहां हर महीने ही किसी न किसी त्यौहार को मनाया जाता है | होली के हुड़दंग का समापन हो चुका है और अब चैत्र नवरात्रि को लेकर तैयारी शुरू हो जाएगी | देखा जाए तो नवरात्रि साल में चार बार आती है, दो गुप्त नवरात्रि होती है एक चैत्र नवरात्रि जो अप्रैल में मनाई जाती है तो वही चौथा नवरात्रि शारदीय नवरात्रि कहलाती है | माना जाता है कि, इन चारों नवरात्रियों में देवी की श्रद्धा भाव से पूजा अर्चना करने से लोगों की मनोकामनाएं पूर्ण होती है | नवरात्रि में देवी के अलग-अलग रूपों की विधि विधान के साथ पूजा की जाती है और इस पूजा से शुभ फलों की प्राप्ति होती है |
लेकिन इस बार लोगों में चैत्र नवरात्रि को लेकर दुविधा की स्थिति बनी हुई है, क्योंकि कुछ लोगों का कहना है 8 अप्रैल को चैत्र नवरात्रि आरंभ हो रहा है तो वहीं कुछ लोगों का मानना है कि 9 अप्रैल नवरात्रि की शुरुआत होगी, लेकिन वही पंचांग के अनुसार चैत्र नवरात्रि का आरंभ 9 अप्रैल से होगा | 9 दिनों के पर्व के बाद रामनवमी के साथ 17 अप्रैल समापन होगा |
चैत्र नवरात्रि प्रतिपदा का आरंभ 8 अप्रैल को देर रात 11 बजकर 50 मिनट पर होगा और अगले दिन यानी 9 अप्रैल को रात के समय 8 बजकर 30 मिनट पर समाप्त हो जाएगी। इसलिए उदया तिथि की मान्यता के अनुसार नवरात्रि का आरंभ 9 अप्रैल से होगा। हिंदू धर्म में नवरात्रि के 9 दिनों का महत्व बहुत ही खास माना जाता है। इन 9 दिनों में आदिशक्ति माँ दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा की जाती है। धार्मिक मान्यताओं में माना गया है कि, इन 9 दिनों में माँ दुर्गा से जुड़ी सभी शक्तियां जागृत हो जाती हैं। इसलिए इन दिनों में मां दुर्गा की संपूर्ण विधि विधान से पूजा करने से आपकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। लेकिन इस साल चैत्र नवरात्रि में मां दुर्गा का आगमन किस वाहन से होगा और कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त क्या है इसे जानकारी देते है |
चैत्र नवरात्रि में मां दुर्गा इस बार घोड़े पर सवार होकर आएंगी। मां दुर्गा का वाहन इस बात पर निर्भर करता है कि नवरात्रि का पर्व किस दिन से आरंभ हो रहा है। पंचांग के अनुसार इस साल नवरात्रि का आरंभ 9 अप्रैल मंगलवार से हो रहा है। इसलिए मां दुर्गा का वाहन अश्व यानी कि घोड़ा होगा, जो कि, आने वाले साल के लिए शुभ संकेत नहीं माना जाता है। घोडे़ पर देवी का आना युद्ध छत्र भंग यानी कई स्थानों पर सत्ता परिवर्तन का संकेत दे रहा है। इस साल देश में आम चुनाव होने वाले हैं। माना जा रहा है कि, चुनाव के नतीजे काफी आश्चर्यजनक हो सकते हैं। इसके अलावा घोड़े पर मां दुर्गा का आना राष्ट्रीय आपदा साथ लेकर आता है। पूरे देश को कोई भयानक प्राकृतिक आपदा झेलनी पड़ सकती है।
पंचांग की गणना में बताया गया है कि इस बार कलश स्थापना के लिए सिर्फ 50 मिनट का समय मिल रहा है। कलश स्थापना सुबह 6 बजकर 12 मिनट से लेकर 10 बजकर 23 मिनट तक कर सकते हैं। 4 घंटे 11 मिनट का यह मुहूर्त सामान्य मूहूर्त माना जा रहा है। वहीं घटस्थापना के लिए मुहूर्त 12 बजकर 3 मिनट से 12 बजकर 53 मिनट तक कुल 50 मिनट का है। इस बार चैत्र नवरात्रि के पहले दिन सर्वार्थ सिद्धि योग और अमृत योग का शुभ संयोग भी बन रहा है। यह सर्व कार्य सिद्धि के लिए बहुत ही शुभ माना जा रहा है।
तो माँ के स्वागत के लिए हो जाए तैयार, देवी माँ किसी भी सवारी में सवार होकर आए लेकिन हमेशा अपने संतानों को खुशी देने ही आती है और पंचांग की माने तो इस वर्ष 9 अप्रैल से चैत्र नवरात्रि की शुरुआत होगी |
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