सिलीगुड़ी में विगत एक हफ्ते में ही तीन-तीन हत्या अथवा आत्महत्या की घटनाएं सुर्खियों में है. सिलीगुड़ी के 36 नंबर वार्ड में शांति नगर के बऊ बाजार इलाके में एक मां बेटी की रहस्यमय मौत हो गई थी. पुलिस आज भी इस रहस्यमय मौत की घटना की गुत्थी सुलझा नहीं पाई है और ना ही इस संबंध में अभी तक किसी की गिरफ्तारी हो पाई है.
अब एक और हत्या की घटना सुर्खियों में है. यह घटना सिलीगुड़ी नगर निगम के वार्ड नंबर 4 में घटी है. यही कुम्हार टोली में विपुल गुप्ता रहता था. वह फेरी का काम करता था. उसके परिवार में पत्नी और एक बेटा है. शुक्रवार की रात जब विपुल गुप्ता की पत्नी और उसका बेटा घर से बाहर थे, तभी विपुल गुप्ता की हत्या हो गई थी. पुलिस ने विपुल गुप्ता की हत्या के आरोप में जिस शख्स को गिरफ्तार किया है, उसका नाम राम बर्मन है. वह विपुल गुप्ता का पड़ोसी है. राम बर्मन माटीगाड़ा स्थित एक होटल में काम करता है. इलाके के लोग और स्वयं मृतक की पत्नी का बयान है कि राम वर्मन ने ही विपुल गुप्ता की हत्या की है.
पुलिस हिरासत में राम बर्मन ने मुंह खोला है. उसने अपने बयान में कहा है कि विपुल गुप्ता की पत्नी के साथ बैठकर वह शराब पी रहा था.उसी समय विपुल गुप्ता घर आ गया. विपुल गुप्ता को देखकर वह वॉशरूम में छप गया. ताकि विपुल गुप्ता यह नहीं समझे कि उसकी पत्नी के साथ राम बर्मन का कोई चक्कर है. विपुल गुप्ता ने राम बर्मन को देख लिया था. वॉशरूम में ही दोनों में मारपीट हुई. राम बर्मन ने विपुल गुप्ता की हत्या कर दी. मृतक विपुल गुप्ता की पत्नी ने इससे इनकार किया है कि राम बर्मन के साथ उसका कोई चक्कर था. उसने अपने बयान में कहा है कि वह राम बर्मन को नहीं जानती तथा उसके साथ उसका कोई भी संबंध नहीं है. राम बर्मन उसे फसाने के लिए झूठ बोल रहा है. पुलिस पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार कर रही है.
राम बर्मन को पुलिस सिलीगुड़ी कोर्ट में प्रस्तुत करने ले जा रही थी. जब वह पुलिस की वैन से नीचे उतरा तो उसे देखने के लिए कोर्ट परिसर में उपस्थित कई जोड़ी आंखें उसे घूर रही थी. वह लोगों की नजरों का सामना नहीं कर पा रहा था. हालांकि उसके चेहरे पर घोर पश्चाताप के चिन्ह थे. वह स्वयं से ही बड़बड़ा रहा था. जैसे कह रहा हो कि उसने बहुत बड़ा अपराध किया है.
शक्ल सूरत से वह कोई जरायम पेशेवर नजर नहीं आ रहा था. अर्थात ऐसा नहीं नजर आ रहा था, जैसे वह कोई पेशेवर हत्यारा हो. हालांकि यह पुलिस इन्वेस्टिगेशन का विषय है. पुलिस ही बताएगी कि उसने इससे पहले भी कोई अपराध किया है या नहीं. लेकिन हत्या जैसे मामले में आरोपी राम बर्मन पहली नजर में खुद को कसूरवार समझ कर काफी ग्लानि महसूस कर रहा था. उसकी भाव भंगिमा ऐसी थी जैसे उसने सोचा नहीं था कि उससे ऐसा बड़ा अपराध हो जाएगा और वह जेल की सलाखों तक पहुंच जाएगा!
रिमांड अवधि में पुलिस राम बर्मन से हत्या के कारणों की पूछताछ कर रही है. पुलिस को दिए बयान में मृतक विपुल गुप्ता की पत्नी ने यह नहीं बताया कि राम बर्मन ने उसके पति की हत्या क्यों की. वह यह बात जानती भी नहीं है. लेकिन राम बर्मन ने यूं ही विपुल गुप्ता की हत्या नहीं की होगी. ऐसे में कोई ना कोई ऐसी बात जरूर है, जिसने राम बर्मन को विपुल गुप्ता की हत्या के लिए मजबूर किया. पुलिस सूत्र खंगाल रही है. हत्या की तह में जाने के लिए पुलिस को पोस्टमार्टम रिपोर्ट से काफी मदद मिलेगी.
हालांकि मृतक विपुल गुप्ता के शव की पोस्टमार्टम रिपोर्ट नहीं आई है,परंतु शव के प्राथमिक मुआयना के क्रम में उस पर धारदार हथियार से हमले के निशान मिले हैं. इसके अलावा उसकी गर्दन पर एक गमछा भी लपेटा पाया गया था. पुलिस को लगता है कि सर्वप्रथम हत्यारे ने विपुल गुप्ता पर चाकू आदि से हमला किया. उसके पश्चात उसे बुरी तरह जख्मी और धराशाई करने के बाद फिर गमछे से उसका गला घोट दिया. इसी क्रम में उसकी मौत हो गई थी.
चर्चा है कि जब मृतक विपुल गुप्ता की पत्नी और उसका बेटा बाहर से घर पहुंचे, तब तक हत्यारोपी राम बर्मन घर में ही छिपा था और मृतक के पास ही खड़ा था. मृतक की पत्नी ने खून देखकर शोर मचाया. उसी क्रम में राम बर्मन मृतक की पत्नी को धक्का देकर बाहर भाग गया. हालांकि कुछ ही देर बाद खालपाड़ा पुलिस ने हत्या रोपी को गिरफ्तार कर लिया था. अब हत्या रोपी राम बर्मन को हिरासत में लेकर पुलिस मामले की छानबीन में जुट गई है. इस तरह से यह पूरा मामला उलझ गया है.
अगर यह हत्याकांड , क्रोध और आवेश से जुड़ा है तो मनुष्य को इस पर पर नियंत्रण रखना चाहिए. क्योंकि कई बार आदमी अपने क्रोध पर नियंत्रण नहीं रखकर एक बहुत बड़े गुनाह को अंजाम देता है, जिसका एहसास उसे बाद में होता है. ऐसा लगता है कि इस हत्याकांड में भी कुछ ऐसा ही हो सकता है. हालांकि यह पुलिस इन्वेस्टिगेशन के बाद ही पता चलेगा. जितना संभव हो मनुष्य को अपने क्रोध और आवेश पर नियंत्रण रखना चाहिए!