अंतरिक्ष जो रहस्यमईयों से भरा पड़ा है जिसे हम खुली आंखों से तो देखते है, लेकिन उसकी सच्चाई क्या है उसे हम नहीं जानते, कल्पनाओं और रहस्य से भरा अंतरिक्ष को देख लोगों के मन में विभिन्न तरह के सवाल उठाते हैं, लेकिन इन सवालों का जवाब मिलना नामुमकिन है, क्योंकि आज तक वैज्ञानिक तो अंतरिक्ष के बारे में पूरी तरह जान नहीं पाए तो साधारण इंसान क्या है, वो तो बस तारों से भरे आकाश को देखकर उसमें किसी के चेहरे को ढूंढते हैं, तो वहीं आसमान का चांद कभी करवा चौथ का चांद बन जाता है, तो कभी ईद का चांद और बच्चों के लिए तो चंदा मामा | साधारण इंसान के लिए अंतरिक्ष का ज्ञान यही तक है, लेकिन इन कहानियों से परे अंतरिक्ष पर घटने वाली खाउगली घटनाएं जो बहुत ही रहस्यमयी होती है | 11 मई को एक ऐसी ही खगोलिक घटना घटित होने वाली है | 11 मई को एटा एक्वेरिड उल्कापात चरम पर होगा। उल्कापात एक खगोलीय घटना है, जिसमें आकाश में उल्का पिंड या उल्काओं को देखा जा सकता है. यह तब होता है जब पृथ्वी किसी धूमकेतु या क्षुद्रग्रह द्वारा छोड़े गए मलबे के बादल से होकर गुजरती है. उल्काएँ पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश करने पर जल जाती हैं और कुछ सेकंड के लिए तेज रोशनी उत्सर्जित करती हैं.
Gadgets 360 के अनुसार, 11 मई को यह उल्कापात 66 किमी प्रति सेकंड की गति से दिखाई देगा. इस उल्कापात को हैली धूमकेतु के मलबे से माना जाता है, और यह उत्तरी और दक्षिणी दोनों गोलार्धों में देखा जा सकता है, CBS News के अनुसार, दक्षिणी गोलार्ध में बेहतर देखने की संभावना है | इसके अलावा 28 मई को भी एक खगोलिक घटना घटित होने वाली है और इस खगोलिक घटना में शाम के समय चंद्रमा और बृहस्पति को पास-पास एक साथ देख सकते हैं | चंद्रमा बृहस्पति के 5°12′ उत्तर में होगा, यह शाम 7:28 बजे के आसपास पश्चिमी क्षितिज से 13 डिग्री ऊपर दिखाई देगा, यह नंगी आंखों से भी दिखाई देगा, और वहीं वैज्ञानिकों ने बताया है कि, इस खगोलिक घटना को बिना उपकरण के देखा जा सकता है |
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