दुनिया की सबसे ऊँची चोटी माउंट एवरेस्ट की चोटी है और यह वह चोटी है जिसे फतेह करने के सपने हर पर्वतारोही देखते हैं, लेकिन यह इतना आसान नहीं अच्छे से अच्छे धुरंधर एवरेस्ट की चोटी के सामने अपने घुटने टेक देते हैं | जब भी माउंट एवरेस्ट की चोटी को फतेह करने का जिक्र होता है, हमारे जहेन में तेनजिंग नोर्गे का नाम आ जाता है, लेकिन आज हम तेनजिंग नोर्गे कि, नहीं बल्कि कामी रीता द्वारा 30 बार एवरेस्ट फतेह का जिक्र करने वाले हैं और कामी रीता 10 दिनों में दो बार चोटी तक पहुंचे |
दुनिया की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट पर नेपाल के पर्वतारोही कामी रीता 30 बार चढ़ चुके हैं 30 सालों में 30 बार माउंट एवरेस्ट की चोटी पर चढ़ाई करना उन्होंने यह एक रिकॉर्ड बना लिया है, अब वे दुनिया के इकलौते ऐसे पर्वतारोही बन गए हैं जिन्होंने 30 साल में 30 बार एवरेस्ट की चोटी पर फतेह हासिल किया है, एवरेस्ट की चोटी पर पहुंचे 54 साल के कामी को अब एवरेस्ट मेन के नाम से भी जाना जाता है | उन्होंने 12 मई को इस चोटी पर फतेह हासिल किया था और फिर से वे 22 मई को भी इस चोटी पर पहुंचे, यानी की 10 दिनों में दो बार माउंट एवरेस्ट की चोटी पर चढ़े |
कामी द्वारा एवरेस्ट की चोटी को फतेह करने का सिलसिला 1994 से शुरू हुआ और यह कहानी पर्वतारोहियों को काफी रोचक लगती है वह बार-बार कामी की कहानियों को सुनकर प्रोत्साहित होते हैं |
बता दे कि,1994 में कामी रीता ने पहली बार एवरेस्ट की चोटी को फतेह किया था उसे समय में वे 25 साल के थे | उसके बाद लगातार हर साल एवरेस्ट की चोटी पर चढ़ाई कर रहे हैं | गौर करने वाली बात यह है कि पर्वतारोहियों को एवरेस्ट की चोटी पर चढ़ाई करने में कई दिन लग जाते हैं, लेकिन कामी एक ऐसे व्यक्ति है जो बहुत कम दिनों में ही यह कारनामा कर दिखाते हैं | कामी एक ऐसे पर्वतारोही है जो अपने ही रिकॉर्ड को तोड़ते है | कामी रीता एक शेरपा है और माउंट एवरेस्ट की खतरनाक चढ़ाई के लिए यहां आने वाले ट्रैकर्स को गाइड भी करते है |
कामी शेरपा सोलुखुंबू जिले के थामे गांव के रहने वाले हैं वह जब 12 साल के थे तब से ही उन्होंने एवरेस्ट बेस कैंप तथा पर्वतारोहियों के लिए जरूरी सामान पहुंचाने का काम शुरू कर दिया था और उन्होंने यह काम लगातार 11 वर्ष तक किया |
इतने लंबे सफर में कामी रीता ने कई चोटियों को अपने पांव तले रौंदा है | बता दे कि, वे पहली बार मई 1994 में हाई एल्टीट्यूड वर्कर के तौर पर एवरेस्ट के कैंप-4 (25,938 फीट) तक पहुंचे थे। वे माउंट एवरेस्ट के साथ-साथ के-2, चो-ओयू, लोस्ते और अन्नापूर्णा की भी चढ़ाई कर चुके हैं। उनके नाम शेरपा के तौर पर सेवन समिट्स तक पहुंचने वाले पहले नेपाली व्यक्ति का रिकॉर्ड भी है।
कामी रीता के अलावा एवरेस्ट पर सबसे अधिक बार चढ़ने का रिकॉर्ड एक और नेपाली शेरपा पासंग दावा के नाम भी है। पासंग ने अब तक कुल 27 बार एवरेस्ट पर चढ़ाई की है। वे 1998 से एवरेस्ट पर चढ़ाई कर रहे हैं।
54 वर्षीय कामी रीता ने फिर से यह साबित कर दिया है कि, हौसले बुलंद होतो उम्र बाधा नहीं बन पता, बस इंसान के अंदर किसी काम को सफल बनाने के लिए जोश,जज्बा के साथ एकाग्रता की जरूरत होती है, यदि एक साधारण इंसान भी जोश,जज्बा और एकाग्रता के साथ कोशिश करें, तो दुनिया की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट को भी 30 बार फतेह कर सकता है |
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