सिलीगुड़ी: एक समय तो ऐसा भी था जब सिलीगुड़ी का भूटिया मार्केट ग्राहकों से भरा रहता था, हाकिमपाड़ा में लगने वाले इस भूटिया मार्केट का इंतजार बेसब्री से शहर वासी करते थे | इतना ही नहीं हर वर्ष ठंड के मौसम में लोग बांग्लादेश, कोलकाता और पहाड़ से यहां खरीदारी के लिए पहुंचते थे | 50 वर्ष से अधिक पुराना यह मार्केट पूरे उत्तर बंगाल में अपनी एक अलग पहचान बन चुका है | 10 दिसंबर से 10 मार्च तक 3 महीने यह बाजार लगता है | पहले इस मार्केट में भूटिया विक्रेताओं के कारण बाजार गर्म रहता था, लेकिन जैसे-जैसे बाजार में भूटिया विक्रेताओं में कमी आई, वैसे-वैसे बाजार में ग्राहकों का आना भी कम हो गया | वर्तमान में स्थानीय और दार्जिलिंग के विक्रेता ही इस मार्केट में रौनक बढ़ाने की कोशिश कर रहे हैं | हमारे प्रतिनिधि जब भूटिया मार्केट पहुंचे तो विक्रेता वीर बहादुर विश्वकर्मा जो दार्जिलिंग के निवासी है, उन्होंने बताया कि वे लगभग 45 साल से यहां दुकान लगा रहे हैं पहले भूटिया विक्रेता ज्यादा तादाद में थे लेकिन अब धीरे-धीरे उनकी संख्या कम हो गई है,उन्होंने यह भी बताया कि, यहां पर मिलने वाले कपड़े ज्यादातर बाहर से आते हैं, पंजाब, दिल्ली और कुछ कपड़े स्थानीय भी होते हैं | उन्होंने यह बताया कि, पहले जिस तरह से कारोबार चलता था, अब उसमें गिरावट आई है | पहले का समय सस्ता था कारोबार अच्छा चलता था, लेकिन धीरे-धीरे समय के साथ कारोबार में गिरावट आ रही है | वहीं दार्जिलिंग निवासी विक्रेता कमरुद्दीन हाशमी ने भी बताया कि, वे यहां 1988 से दुकान लगा रहे हैं और अब ज्यादातर कपड़े लुधियाना से लाते हैं और यहां भी बनाए जाते हैं, साथ ही यह भी बताया कि, पहले और वर्तमान के कारोबार में बहुत अंतर आया है | कुछ विक्रेताओं ने यह भी कहा कि, पहले दिसंबर के अंत से ही बाजार में ग्राहकों की भीड़ लग जाती थी, लेकिन अब आलम यह है कि, कभी-कभी तो दिन भर में एक गर्म कपड़े भी नहीं बिकते | इसके अलावा कुछ विक्रेताओं ने यह भी बताया कि, सिलीगुड़ी में ठंड कम होने की वजह से भी ग्राहकों की खरीदारी में गिरावट आई है, जिसके कारण व्यापार पूरी तरह मंदा चल रहा है |
वहीं कुछ ग्राहकों ने शिकायत भी की है कि, भूटिया मार्केट में मिलने वाले कपड़ों की क्वालिटी ठीक नहीं होती, कीमत अधिक देने के बावजूद ग्राहकों को संतुष्टि नहीं मिलती, इसलिए ग्राहक इस मार्केट से दुरी बना रहे है | पहले स्थानीय लोगों के अलावा पर्यटक भी इस मार्केट की ओर आकर्षित होते थे, लेकिन समय के साथ-साथ बाजार पूरी तरह फीका पड़ चुका है |
फिलहाल तो 50 साल पुराना यह भूटिया मार्केट मंदी की मार को झेल रहा है | ”कहते हैं जब तक सांस तब तक आश है” ठीक उसी तरह भूटिया मार्केट के व्यापारी सिलीगुड़ी में ठंड बढ़ने का इंतजार कर रहे हैं |
उत्तर बंगाल
लाइफस्टाइल
सिलीगुड़ी
भूटिया विक्रेताओं की कमी के कारण भूटिया मार्केट से गायब होते ग्राहक !
- by Gayatri Yadav
- January 4, 2024
- 0 Comments
- Less than a minute
- 671 Views
- 2 years ago

Share This Post:
Related Post
WEST BENGAL, ELECTION, ELECTION COMISSION OF INDIA, westbengal
बंगाल में फर्जी मतदाता पकड़ने के लिए AI का
November 18, 2025
newsupdate, crime, nepal, sad news, siliguri, siliguri metropolitan police
सिलीगुड़ी को दहलाने की मंशा पर पुलिस ने फेर
November 17, 2025
CAA, ELECTION COMISSION OF INDIA, newsupdate, Shankar ghosh, SIR
सिलीगुड़ी में शुरू हुआ CAA कैंप, विधायक शंकर घोष
November 16, 2025
recovered, murder case, newsupdate, sad news, siliguri, siliguri metropolitan police, suicide
तरके सुबह सिलीगुड़ी में दो शव बरामद : दंपति
November 16, 2025
